हाल ही में राज्य स्तरीय शिक्षक सम्मान से सम्मानित धार जिले के शासकीय उत्कृष्ट उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, बाग में पदस्थ शिक्षिका राधा शर्मा ने आदिवासी बहुल क्षेत्र में शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान दिया है। राधा ने उन बच्चों को शिक्षा की मुख्यधारा से जोड़ा, जिनके माता-पिता मजदूरी के लिए पलायन कर जाते हैं। उन्होंने घर-घर जाकर पालकों को शिक्षा के महत्व को समझाया और बच्चों का विद्यालय में पुनः नामांकन सुनिश्चित किया। आज उन छात्राओं में से कई आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, आशा कार्यकर्ता बनकर आत्मनिर्भर जीवन जी रही हैं और समाज सेवा में लगी हैं।
कोरोना काल में भी नहीं रुकी शिक्षा
कोविड-19 के दौरान जब स्कूल बंद थे, तब राधा शर्मा ने डिजिटल शिक्षा को बढ़ावा देते हुए Google Meet और Zoom के माध्यम से ऑनलाइन कक्षाएं संचालित कीं। उन्होंने Google Forms के माध्यम से पूरे धार जिले के विद्यार्थियों की परीक्षाएं आयोजित कर शिक्षण को सतत बनाए रखा।
मास्टर ट्रेनर के रूप में सक्रिय भूमिका
राधा शर्मा मास्टर ट्रेनर के रूप में भी कार्यरत हैं। वे अन्य शिक्षकों को प्रशिक्षण प्रदान करती हैं। साथ ही विद्यार्थियों को नैतिक शिक्षा, तनाव प्रबंधन और व्यावसायिक कौशल के लिए तैयार करती हैं, जिससे वे भविष्य की चुनौतियों का सामना कर सकें।
जनजातीय क्षेत्र में किया प्रेरणादायक कार्य
राधा शर्मा ने बताया कि वे वर्ष 2003 से जनजातीय कार्य विभाग में सेवाएं दे रही हैं। जिस क्षेत्र में उनका विद्यालय स्थित है, वह पहाड़ी और दूरस्थ क्षेत्र है, जहां अधिकांश परिवार मजदूरी से जुड़े हुए हैं और घरों के बीच काफी दूरी है। ऐसे में उन्होंने प्रत्येक घर पहुंचकर अभिभावकों को शिक्षा के लाभ समझाए। इसके परिणामस्वरूप, बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं विद्यालय से जुड़ने लगे।
योग के क्षेत्र में भी सराहनीय योगदान
राधा शर्मा एक प्रशिक्षित योग शिक्षिका भी हैं। उन्होंने महिलाओं के लिए निशुल्क योग शिविरों का आयोजन कर उन्हें स्वास्थ्य के प्रति जागरूक किया। उनके इस कार्य के लिए उन्हें वर्ष 2024 में राज्य स्तरीय 'योगिनी अवार्ड' से सम्मानित किया गया। वे विद्यालय में भी विद्यार्थियों को योग और मानसिक स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करने का कार्य कर रही हैं।
सन्दर्भ स्रोत : हरिभूमि
सम्पादन : मीडियाटिक डेस्क
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