जन्म दिनांक : 13 मई, जन्म स्थान : रीवा
माता : श्रीमती सीता नामदेव, पिता : श्री केपी नामदेव
शिक्षा : पीएचडी (बौद्ध दर्शन का मध्यप्रदेश के सांस्कृतिक जीवन पर प्रभाव), एम ए (इतिहास), बीएससी (बायोलॉजी), मप्र स्लेट, पीजीडीसीए
व्यवसाय : शिक्षाविद् और रिसर्चर (बरकतुल्लाह यूनिवर्सिटी, भोपाल), पर्यावरणविद् और सामाजिक कार्यकर्ता (भोपाल अंचल अध्यक्ष - अवनि वेलफेयर सोसाइटी), प्रबंध संपादक - यूएसवी पब्लिकेशन, International Journal of Pedagogical Excellence and Management Research (IJPEMR)
करियर यात्रा-जीवन यात्रा : विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों में शिक्षा के क्षेत्र में लगभग 20 वर्ष का अनुभव. पर्यावरणविद के रूप में 13 वर्ष के साथ - साथ सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में संलग्न. वर्तमान में बरकतुल्लाह यूनिवर्सिटी, भोपाल में शिक्षाविद और रिसर्चर के रूप में कार्यरत.
पिताजी कृषि विभाग में उच्च अधिकारी थे, उनके साथ कई उद्यानों, जंगलों और प्राकृतिक स्थान में जाना होता था. इसलिए बचपन से ही प्रकृति से जुड़ाव रहा और पेड़-पौधों के संरक्षण तथा नये तरीकों से ग्राफ्टिंग करके पौधे लगाने की प्रेरणा मिली. वनस्पति शास्त्र की पढ़ाई में औषधीय पौधों का महत्व जाना, इससे इस क्षेत्र में दिलचस्पी और बढ़ी, जो . धीरे-धीरे पर्यावरण संरक्षण की ओर ले गई. इस तरह स्मिता विभिन्न प्रकार के पेड़-पौधे रोपने और उन्हें बचाये रखने के लिए काम करने लगीं.
अवनि वेलफेयर सोसाइटी से पर्यावरणविद् के रूप में जुड़ीं और इसके संस्थापक विजय गुप्ता एवं टीम के साथ सीड बॉल्स बनाने और उनके जरिये पौधारोपण का अभियान शुरू किया. साथ ही पक्षी संरक्षण के क्षेत्र में भी कार्य करना शुरू किया. उनके लिए हरे नारियल के खोल से सकोरे बनाये. सीड बॉल की तरह उनका भी निशुल्क वितरण किया. मध्यप्रदेश में अब तक 20 हज़ार से भी ज़्यादा ऐसे सकोरे बांटे जा चुके हैं। यह संस्था पक्षियों के लिये घोंसले भी बनाती है और वे भी निशुल्क वितरित किए जाते हैं। 2031 तक संस्था का लक्ष्य एक करोड़ पौधे लगाने का है.
उपलब्धियां/पुरस्कार
• पुरस्कार और प्रकाशन- शिक्षा के क्षेत्र में बुद्धिज़्म के प्रोजेक्ट पर कैलिफोर्निया, यूएसए से 2 साल के लिए अंतर्राष्ट्रीय छात्रवृत्ति से सम्मानित
• मध्य प्रदेश में बुद्धिज़्म और इसके प्रभावों पर शोध कार्य पर सीसीआरटी, नई दिल्ली से राष्ट्रीय फैलोशिप से सम्मानित
• समाचार पत्र-पत्रिकाओं में विभिन्न विषयों पर कई शोध पत्रों और लेखों का प्रकाशन और सेमिनार में प्रस्तुतीकरण कर रही हैं
सम्मान
• निर्माण, परिवर्तन संस्था द्वारा भोपाल- रत्न सम्मान (2023)
• आरएनएसएस द्वारा प्राइड ऑफ़ एमपी अवार्ड (2024)
• आरएनएसएस द्वारा नारी रत्न सम्मान (2024)
• प्रेस्टीज यूनिवर्सिटी द्वारा शिक्षक सम्मान (2024) सहित पर्यावरण, शिक्षा और सामाजिक कार्यों के लिए अनेक पुरस्कार और सम्मान प्राप्त
रुचियां : बागवानी और आयुर्वेदिक पौधों का रोपण, पेंटिंग, संगीत, पाक कला
अन्य जानकारी :
• वृद्धाश्रमों में सेहत जागरूकता के अलावा महिला शिक्षा और 'नशा मुक्त भारत अभियान’ के तहत भी कार्य कर रही हैं
• स्कूलों-कॉलेजों में पर्यावरण जागरूकता, सीड बॉल्स और नारियल के खोल के सकोरे बनाने और शिक्षा पर बच्चों और युवाओं के लिए कार्यशालाओं का आयोजन
• BEST (भोपाल एक साथ टीम) संस्था और संस्थापक स्पर्श द्विवेदी के साथ GIS सबमिट में आने वाले मेहमानों के लिए भोपाल की संपूर्ण जानकारी के लिए तैयार बुकलेट का कंटेंट लेखन
• वर्ल्ड वाइड फूड ग्रुप ’द अल्टिमेट फूडिस’ के संस्थापक NRI आबिद फारूक के साथ कोर टीम सदस्य के रूप में महिलाओं और बाल स्वास्थ्य पोषण जागरूकता अभियान के तहत कार्यक्रम आयोजित किया, जिसमें मप्र के राज्यपाल की गरिमापूर्ण उपस्थिति और सराहना मिली
• 2012 में एमपी स्टेट से मास्टर शेफ में कैंडिडेट के रूप में चयनित (स्टार प्लस)
• डीडी-मध्यप्रदेश चैनल पर साप्ताहिक कुकिंग शो का प्रसारण और दैनिक भास्कर के डीबी स्टार के फूड कॉलम में रेसिपीज़ और कुकिंग स्किल पर लेख प्रकाशित
• पेंटिंग में कई पुरस्कार जीते हैं जिसमें मुख्यतः पर्यावरण से संबंधित चित्रों को ही उकेरा है साथ ही कुछ गोंड (पाटनगढ़ शैली) चित्रकारी भी की.
• अवनी वेलफेयर सोसाइटी में प्रेसीडेंट